tag:blogger.com,1999:blog-2944663179403055995.post2248930822594505757..comments2022-11-25T03:10:34.218-08:00Comments on शब्द सृजन: निकालिये ना!योगेश समदर्शीhttp://www.blogger.com/profile/05774430361051230942noreply@blogger.comBlogger3125tag:blogger.com,1999:blog-2944663179403055995.post-26429034579754751422007-03-15T03:14:00.000-07:002007-03-15T03:14:00.000-07:00बहुत सही कहा आपने विज्ञापन में भी ये लोग अश्लीललता...बहुत सही कहा आपने विज्ञापन में भी ये लोग अश्लीललता परोसने लगे हैं, घर वालों के साथ बैठे बहुत ही असहज महसूस होता है।<BR/><BR/>ऐसे विज्ञापन बिल्कुल सेंसर होने चाहिए।ePandithttps://www.blogger.com/profile/15264688244278112743noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2944663179403055995.post-24886333637847673042007-03-15T02:56:00.000-07:002007-03-15T02:56:00.000-07:00अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता भी कोई चीज है महाराज. आपक...अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता भी कोई चीज है महाराज. आपको पसन्द नहीं चेनल बदल लें.<BR/>यह तो थी ज्ञानीयों वाली बात. मगर आपके जज्बातो को समझ सकता हूँ, आखिर हमारा दूःख एक ही जो है.Anonymousnoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-2944663179403055995.post-72737440041185644992007-03-15T01:54:00.000-07:002007-03-15T01:54:00.000-07:00सच बात है अब समय आ गया है विज्ञापन भी ढंग से सेंसर...सच बात है अब समय आ गया है विज्ञापन भी ढंग से सेंसर होने चाहिए, कई विज्ञापनों मे फूहड़ता और नग्नता होती है। हो सकता है कुछ लोगों को पसन्द हो, लेकिन परिवार के साथ बैठकर देखते समय सहजता महसूस नही होती।Jitendra Chaudharyhttps://www.blogger.com/profile/09573786385391773022noreply@blogger.com